दोस्तो, स्वागत है आपका हमारे ब्लॉग पर। दोस्तो आज हम आपके लिये लेकर आये हैं एक ऐसा गर्म पेय पदार्थ जो स्वाद में बहुत कड़वा होता है लेकिन जब आपको तत्काल एनर्जी की जरूरत होती है तब आप इसे पीकर एनर्जी प्राप्त कर सकते हैं। यह पेय, उस मुख्य वस्तु का हिस्सा है जिसके द्वारा हम मीठा और स्वादिष्ट गर्म पेय बनाते हैं। मीठा और स्वादिष्ट यह पेय, गर्म और ठंडा दोनों ही बन सकते हैं लेकिन तासीर नहीं बदलती। तासीर गर्म ही रहती है। परन्तु यह हमारा विषय नहीं है। हमारा विषय उस मुख्य वस्तु से बनने वाला कड़वा गर्म, तत्काल एनर्जी प्रदान करने वाला पेय पदार्थ है। जी हां, हम बात कर रहे हैं ब्लैक कॉफी की। दोस्तो, यही है हमारा आज का टॉपिक “ब्लैक कॉफी के फायदे और नुकसान”। देसी हैल्थ क्लब इस लेख के माध्यम से आज आपको पहले कॉफी के बारे, फिर ब्लैक कॉफी के बारे में विस्तार से जानकारी देगा और यह भी बतायेगा कि ब्लैक कॉफी पीने के क्या फायदे होते हैं और क्या नुकसान। तो, सबसे पहले जानते हैं कॉफी के बारे में कि कॉफी क्या होती है, कहां उगाई जाती है और ब्लैक कॉफी क्या होती है।
कॉफी क्या है? – What is Coffee?
कॉफी जिसे अरबी भाषा में कहवा कहा जाता है, विश्व प्रसिद्ध पेय पदार्थ है जिसे ज्यादातर गर्म तैयार किया जाता है, यदि इसे ठंडा भी बनाया जाता है तो ठंडी कॉफी का स्वाद बहुत ही लाजवाब होता है परन्तु इसकी तासीर गर्म ही रहती है। कॉफी, कॉफिया अरेबिका (Coffea Arabica) नामक वृक्ष से प्राप्त किया जाता है। इस वृक्ष पर लगने वाले फलों (कॉफी बीन्स) को भूनकर पीसा जाता है, तब बनती है कॉफी।
कॉफी का उत्पादन कहां होता है? – Where is Coffee Produced?
कॉफिया (Coffea) मूलतः ब्राजील का पौधा है। इसका उत्पादन गर्म क्षेत्रों में होता है। इसका उत्पादन ब्राजील, कोलम्बिया, लैटिन अमरीका, सब सहारा अफ्रीका, वियतनाम और इंडोनेशिया में होता है। विश्व में कॉफी का सर्वाधिक उत्पादन करने वाला राष्ट्र ब्राजील पहले स्थान पर है तो कोलम्बिया राष्ट्र दूसरे स्थान पर।
भारत में कॉफी का उत्पादन – Coffee Production in India
इतिहास बताता है कि 17वीं शताब्दी में मुस्लिम फकीर बाबा बदून, अरब से कॉफी लेकर आये थे और उन्होंने कर्नाटक राज्य के चिकमंगलूर जनपद में बदून की पहाड़ियों पर इसे उगाया गया था। आज के समय में
भारत में कहवा यानी कॉफी की दो किस्में उगाई जाती हैं। कर्नाटक राज्य के अतिरिक्त दक्षिणी भारत के ही केरल और तमिलनाडु, पूर्वी तट पर उड़ीसा और आंध्र प्रदेश, उत्तर पूर्वी भारत के अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, त्रिपुरा, मिजोरम, मेघालय, मणिपुर और असम राज्यों में कॉफी की खेती की जाती है।
ब्लैक कॉफी क्या है? – What is Black Coffee?
दूध और चीनी रहित वह तरल और गर्म पेय पदार्थ जो केवल पानी में कॉफी डालकर उबाला गया हो ब्लैक कॉफी कहलाता है। इसका स्वाद बहुत कड़वा होता है।
ब्लैक कॉफी के गुण – Properties of Black Coffee
1. इसका स्वाद बहुत कड़वा होता है।
2. इसकी तासीर गर्म होती है।
3. यह एक ऐसा पेय पदार्थ है जो आपका वजन नहीं बढ़ायेगा क्योंकि इसमें ऐसा कुछ है ही नहीं जिससे वजन बढ़े, सिवाय कैफिन और पोटेशियम के। जो कुछ प्रोटीन, खनिज, विटामिन्स् पाये जाते हैं उनकी मात्रा नहीं के समान है। इस लिहाज से इसे हैल्दी ड्रिंक नहीं कहा जा सकता। यही गुण इसका अवगुण भी है।
4. पोषक तत्व (मात्रा प्रति 100 ग्राम)
पानी 99.39 ग्रा.
ऊर्जा 1 कैलोरी
प्रोटीन 0.12 ग्रा.
टोटल लिपिड (फैट) 0.02 ग्रा.
कैल्शियम 2 ग्रा.
आयरन 0.01 मि.ग्रा.
मैग्नीशियम 3 मि.ग्रा.
फास्फोरस 3 मि.ग्रा.
सोडियम 2 मि.ग्रा.
जिंक 0.02 मि.ग्रा.
नियासिन 0.191 मि.ग्रा.
थियामिन 0.014 मि.ग्रा.
राइबोफ्लेविन 0.076 मि.ग्रा.
फोलेट, फूड 2 माइक्रोग्राम
विटामिन-सी
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टोटल एस्कॉर्बिक एसिड 0.0 मि.ग्रा.
विटामिन-ई
(अल्फा टोकोफेरॉल) 0.01 मि.ग्रा.
विटामिन-बी-6, 0.001 मि.ग्रा.
विटामिन-के
(पिल्लोक्विनोने) 0.1 माइक्रोग्राम
फैटी एसिड,
टोटल सैचुरेटेड 0.002 ग्राम
फैटी एसिड,
टोटल मोनोअनसैचुरेटेड 0.015 ग्राम
फैटी एसिड,
टोटल पॉलीअनसैचुरेटेड 0.001 ग्राम
कैफिन 40 एमजी
पोटेशियम 49 मि.ग्रा.
ब्लैक कॉफी के फायदे – Benefits Of Black Coffee
1. मूड सही करें (Set the Mood)- यदि किसी बात को लेकर आपका मूड खराब है, आप ही आप झुंझलाहट हो रही है, आप ही आप गुस्सा आ रहा है, या मन खिन्न है, उदासीनता छाई हुई है, कुछ भी करने का मन नहीं कर रहा तो आप ब्लैक कॉफी पीजिये। इससे तंत्रिका प्रणाली (Nervous system) उत्तेजित हो जायेगी परिणाम स्वरूप आपके शरीर में हैपी हार्मोन्स का उत्पादन होने लगेगा और आपके मूड भी सही होकर खुशनुमा बन जायेगा।
2. तनाव को दूर करे (Relieve Stress)- आज की जीवन शैली कुछ इस प्रकार की हो गई है कि हर शख्स जल्दबाजी में नजर आता है। जिसको काम का अधिक बोझ है वह इसलिये परेशान है कि उसे समय सीमा में काम निबटाना है उसे इसी बात का तनाव है। तो किसी को किसी अन्य कारण से तनाव है, कभी कोई चिंता कभी बोरियत। अधिक नींद आना और सुस्ती आदि ये सब तनाव के लक्षण हैं। इन सब को दूर करने में ब्लैक कॉफी अपनी सक्रिय भूमिका निभाती है। कॉफी में मौजूद कैफीन मस्तिष्क और नर्वस सिस्टम को उत्तेजित करता है। विशेषज्ञों के अनुसार कैफीन लेने से सुस्ती और थकान को कुछ समय के लिये कम किया जा सकता है। ब्लैक कॉफी सेंट्रल नर्वस सिस्टम को उत्तेजित करने के साथ-साथ डोपामाइन, सेरोटोनिन और के उत्पादन को बढ़ा देता है जोकि यह एक न्यूरोट्रांसमीटर (Neurotransmitters) हैं और मूड को बदल कर तनाव से राहत दिलाते हैं।
3. सजगता बढ़ाये (Alertness) – दोस्तो, ऊपर हमने बताया कि कॉफी में पाया जाने वाला कैफीन सेंट्रल नर्वस सिस्टम को उत्तेजित करने के साथ-साथ डोपामाइन, सेरोटोनिन और के उत्पादन को बढ़ा देता है। यह थकान और सिरदर्द को भी दूर करता है जब हम काम करते-करते थक जाते हैं, नींद हावी होने लगती है, सोचने समझने में दिक्कत होने लगती है तब ब्लैक कॉफी हमें राहत देती है। यह मस्तिष्क की सजगता को बढ़ाती है और हमें फिर से सामान्य कर देती है।
4. स्मरणशक्ति को बेहतर बनाये (Improve Memory Power)- ब्लैक कॉफी मस्तिष्क के स्वास्थ के लिये बहुत लाभकारी है। यह सारे दिन मस्तिष्क और नसों को सक्रिय बनाये रखने में अपनी विशिष्ट भूमिका निभाती है। उम्र बढ़ने के साथ-साथ स्मरणशक्ति कमजोर पड़ने लगती है और किसी को संज्ञान में लेने की काबलियत भी कम होने लगती है। ऐसे में प्रतिदिन एक कप ब्लैक कॉफी मस्तिष्क की कार्य प्रणाली में सुधार कर स्मरणशक्ति को बेहतर बनाये रखने में मदद करती है।
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5. पार्किंसंस रोग में फायदेमंद (Parkinson’s Disease)- पार्किंसंस नर्वस सिस्टम का विकार है। इस रोग में हाथों में कंपकंपी, पूरे शरीर में अकड़न या मूवमेंट का धीमा हो जाना आदि लक्षण होते हैं। इससे संबंधित एक शोध में बताया गया है कि कॉफी में मौजूद कैफिन, पार्किंसंस के खतरे की संभवना को समाप्त करने में मदद करता है। एक अन्य शोध के अनुसार कैफीन में नर्वस सिस्टम को उत्तेजित करने वाले (Neurostimulant) और इसको सुरक्षा देने वाले (Neuroprotective) गुण होते हैं। इसलिये यह कहा जा सकता है कि Central Nervous System कैफीन का सकारात्मक असर होता है जो पार्किसंस जैसे रोग से बचाव करता है।
6. शारीरिक क्षमता बढ़ाये (Increase Physical Capacity)- ब्लैक कॉफी पीने से शरीर में तुरंत एनर्जी आती है जिससे शारीरिक श्रम करने की क्षमता बढ़ जाती है। ब्लैक कॉफी के सेवन से खून में एपिनेफ्रीन / एड्रेनालाईन (Epinephrine /Adrenaline) का लेवल बढ़ जाता है, जिससे हमारा शरीर इंटेंसिटी वर्कआउट या एक्टिविटी के लिए तैयार रहता है। वर्कआउट करने वाले लोग शरीर का स्टेमिना बढ़ाने के लिये ब्लैक कॉफी का सेवन करते हैं। जिम ट्रेनर भी वर्कआउट के लिये आने से पहले ब्लैक कॉफी पीने की सलाह देते हैं ताकि वे अधिक समय तक वर्कआउट कर सकें।
7. डायबिटीज को नियंत्रित करे (Control Diabetes)- ब्लैक कॉफी के प्रतिदिन सेवन से टाइप 2 डायबिटीज का खतरा 30 प्रतिशत तक कम हो जाता है। इसमें मौजूद क्लोरोजेनिक एसिड एंटीऑक्सीडेंट के रूप में काम करता है। यह क्लोरोजेनिक एसिड आंतों द्वारा ग्लूकोज अवशोषण को रोकता है और इंसुलिन संवेदनशीलता में सुधार करने में मदद करता है। ब्लैक कॉफी डायबिटीज के रोगियों के लिये अच्छा विकल्प है लेकिन इसका फायदा तभी होगा जब ब्लैक कॉफी बिना चीनी के पीयी जाये। यह इंसुलिन का उत्पादन करने में मदद करके रक्त में शुगर के स्तर को नियंत्रित करती है।
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8. लिवर के लिये फायदेमंद (Beneficial for Liver)- ब्लैक कॉफी के सेवन से आप अपने लिवर को स्वस्थ रख सकते हैं। कई अध्ययनों से यह पता चला है कि जो लोग प्रतिदिन 4 कप ब्लैक कॉफी का पीते हैं उनको लिवर से जुड़ी किसी भी बीमारी के होने का संभावाना कम होती है। कॉफी पर किये गये शोध बताते हैं कि इसमें हेप्टोप्रोटेक्टिव गुण होते हैं। ब्लैक कॉफी लीवर स्टीटोसिस (लीवर कोशिकाओं में फैट का जमा होना) को कम करने के साथ-साथ लिवर ऊतकों को क्षतिग्रस्त होने से बचाती है। कॉफी में पॉलीफेनोल, कैफीन लिवर की कार्य प्रणाली को सही से काम करने में मदद करते हैं। ब्लैक कॉफी पीने से लिवर की सूजन कम होती है। इससे शरीर में फैटी एसिड की समस्या भी दूर हो सकती है।
9. कैंसर प्रतिरोधी (Cancer Resistant)- ब्लैक कॉफी काफी हद तक कैंसर से बचाव करने में भी अपनी सक्रिय भूमिका निभाती है। कॉफी में पाये जाने वाला कैफीन एंटी कैंसर प्रभाव छोड़ता है जो ग्रास नली, ब्रेस्ट, लिवर और मस्तिष्क में कैंसर कोशिकाओं को पनपने से और उनके विकास को रोकता है। एनसीबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित एक स्टडी बताती है कि कॉफी में मौजूद कैफीन गैस्ट्रिक यानी पेट के कैंसर से बचाव में भी मददगार हो सकता है। देसी हैल्थ क्लब यहां स्पष्ट करता है कि ब्लैक कॉफी कैंसर से बचाव का विकल्प हो सकता है ना कि कैंसर के उपचार में उचित उपाय। इसमें डॉक्टरी उपचार ही जरूरी है।
10. वज़न कम करने में फायदेमंद (Weight Lose)- ब्लैक कॉफी में मौजूद एंटीऑक्सिडेंट्स वज़न कम करने की कार्य प्रणाली में मदद करते हैं। चूंकि ब्लैक कॉफी में कैलोरी, फैट, कोलेस्ट्रॉल आदि नहीं के समान होते हैं इसलिये ब्लैक कॉफी के सेवन से वज़न में बढ़ोत्तरी नहीं होती। ब्लैक कॉफी में कैफीन अधिक मात्रा में पाया जाता है इसलिये यह कैफीन शरीर की चयापचय गतिविधि (Metabolic activity) को 50 प्रतिशत तक बढ़ा देता है जिससे फैट कम होने में मदद मिलती है। ब्लैक कॉफी एनर्जी लेवल को बढ़ाता है जिससे भूख कम लगती है। एनसीबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित एक स्टडी के मुताबिक कैफीन उर्जा को संतुलित कर और गर्म प्रभाव (Thermogenesis Effect) उत्पन्न कर मोटापे को नियंत्रित करने में सहायक हो सकता है।
11. पेट को साफ करें (Clean the Stomach)- दोस्तो, ब्लैक कॉफी की तासीर गर्म होती है और बीयर की तासीर ठंडी। फिर भी इन दोनों में एक समानता है, मूत्र को बढ़ाने की। जिस प्रकार बीयर पीने से मूत्र ज्यादा बनता है, उसी प्रकार ब्लैक कॉफी पीने से भी मूत्र ज्यादा बनता है। क्योंकि कॉफी एक मूत्रवर्धक (Diuretic) पेय पदार्थ है अर्थात् आप जितनी बार ब्लैक कॉफी पीयेंगे उतनी बार ही आपको मूत्र विसर्जन करना होगा पेशाब इससे शरीर के विषैले पदार्थ (Toxins) और बैक्टीरिया शरीर से बाहर निकल जायेंगे। इस प्रकार आपका पेट साफ़ रहेगा।
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12. हृदय स्वास्थ के लिये (Cardiovascular Health)- ब्लैक कॉफी को हृदय स्वास्थ के लिये लाभकारी कहा जा सकता है क्योंकि इसमें फैट, कोलेस्ट्रॉल आदि बेहद कम होते हैं जो किसी भी प्रकार का नुकसान नहीं पहुंचा सकते। ब्लैक कॉफी ब्लड शुगर को भी नियन्त्रित करती है और मोटापे को भी। ये सब हृदय समस्याओं के कारक होते हैं। ब्लैक कॉफी पीने से जब ये सब कंट्रोल में रहेंगे तो हृदय अपने आप ही सुरक्षित हो जाता है। एनसीबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित एक शोध बताती है कि कॉफी में कई ऐसे फाइटोकेमिकल्स मौजूद होते हैं जो ग्लूकोज मेटाबॉलिज्म में सुधार करके, ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस को खत्म करके, प्लेटलेट फंक्शन और इम्यूनोमॉड्यूलेशन पर अपना प्रभाव डालकर हृदय को सुरक्षित रखने में मदद करते हैं।
ब्लैक कॉफी पीने का सही समय – Best Time to Drink Black Coffee
एक्सपर्ट्स के अनुसार ब्लैक कॉफी पीने का सबसे अच्छा समय सुबह 9:30 बजे से 11:30 तक हो सकता है क्योंकि इस बीच ज्यादातर लोगों का कोर्टिसोल (स्ट्रेस हार्मोन) स्तर कम होता है। कोर्टिसोल स्तर बढ़ने से यह शरीर को कई प्रकार से हानि पहुंचा सकता है।
कितनी ब्लैक कॉफी पी सकते हैं? – How Much Black Coffee Can You Drink?
एक दिन में 2 या 3 कप ब्लैक कॉफी पीना स्वास्थ के लिये ठीक रहता है। इससे ज्यादा नुकसान पहुंचा सकती है।
ब्लैक कॉफी पीने के नुकसान – Side Effects of Black Coffee
ज्यादा ब्लैक कॉफी पीने के हो सकते हैं निम्नलिखित नुकसान –
1. पेट से जुड़ी समस्याऐं हो सकती हैं जैसे गैस, ऐंठन, दस्त या पेट में गर्मी होना आदि।
2. अनिद्रा की समस्या हो सकती है। यदि रुटीन में रात को ब्लैक कॉफी पीने से निश्चित रूप से अनिद्रा की समस्या बन जायेगी। कभी-कभी का तो हो सकता है। वैसे एक्सपर्ट्स के अनुसार ब्लैक कॉफी सोने से कम से कम 2, 3 घंटे पहले नहीं पीनी चाहिये।
3. सारे दिन में 4 कप या ब्लैक कॉफी पीने से घबराहट, उल्टी, मिचली, मन में अशांति, चिड़चिड़ापन महसूस करना आदि लक्षण नजर आ सकते हैं।
4. बहुत ज्यादा ब्लैक कॉफी पीने से सिर में दर्द, मांसपेशियों में कंपकंपी और दिल की धड़कन का तेज होना,जैसी समस्याऐं हो सकती हैं।
5. जल्दी-जल्दी मूत्र विसर्जन की समस्या हो सकती है।
6. कोर्टिसोल (स्ट्रेस हार्मोन) का स्तर को बढ़ने से मानसिक समस्याऐं हो सकती हैं।
Conclusion –
दोस्तो, आज के लेख में हमने आपको ब्लैक कॉफी के फायदे और नुकसान के बारे में विस्तार से जानकारी दी। कॉफी और ब्लैक कॉफी क्या होती है, कॉफी का उत्पादन कहां होता है, भारत में कॉफी का उत्पादन कहां होता है, ब्लैक कॉफी के गुण क्या होते हैं?, इन सबके बारे में भी विस्तारपूर्वक बताया। देसी हैल्थ क्लब ने इस लेख के माध्यम से ब्लैक कॉफी पीने के फायदे बताये और यह भी बताया कि इसको पीने का सही समय क्या है, कितनी पीनी चाहिये और ज्यादा पीने के क्या नुकसान होते हैं। आशा है आपको ये लेख अवश्य पसन्द आयेगा।
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Disclaimer – यह लेख केवल जानकारी मात्र है। किसी भी प्रकार की हानि के लिये ब्लॉगर उत्तरदायी नहीं है। कृपया डॉक्टर/विशेषज्ञ से सलाह ले लें।
So nice Article